आज की भाग दौड़ भरी जिंदगी में लोगो का ध्यान अपने खान पान पर नहीं रहता है। ऐसे में लोगो में शारीरिक कमजोरी बेहद आम बात हो गयी है। इंसान कितना भी धनि हो परन्तु शरीर का धन ना हो तो सारा पैसा व्यर्थ हो जाता है। शरीर की मजबूत बनावट और कमजोरी रहित शरीर एक स्वस्थ व्यक्ति की पहचान मानी जाती है। हम में से कई शरीर की कमजोरी से जूझ रहे हैं।

हम आपको आज एक ऐसे उपाय के बारे में बताएँगे जिससे आप बेहद आसानी से अपने शरीर की कमजोरी को दूर कर बलवान बन पाएंगे। इस घरेलू नुस्खे के कोई साइड इफेक्ट्स भी नहीं है और यह तरीका भी बेहद आसान है।

आज बढ़ते हुए तनाव, मानसिक थकान, चिंता, शारीरिक रोग ये सब असमय ही इंसान को बूढा बना देती हैं। भरी जवानी में इंसान बूढा नज़र आने लगता हैं। अगर आप अपना योवन कायम रखना चाहते हैं तो आपको यथासंभव तनाव, चिंता को त्यागना होगा।

कहा भी जाता हैं के चिंता से बड़ा कोई शारीरिक शत्रु नहीं हैं। योग करे, ध्यान करे, दोस्तों से मिले, बच्चो और बुज़ुर्गो के साथ समय बिताये, किसी क्लब का सदस्य बनिए, हफ्ते में एक दिन गौशाला जाइए, किसी गरीब को खाना खिलाये। इस से आपकी तनाव और चिंता भाग जाएगी।

जैसा कि आप सब को पता है कि आजकल हमारे दैनिक जीवन का खान पान सही नहीं होने की वजह से मनुष्य जल्दी ही थक जाता है इतना ही नहीं बुजुर्गों के साथ-साथ युवा भी इस श्रेणी में आ गए हैं। युवा भी जल्दी ही थक जाते हैं, थोड़ा सा काम करते ही थकान महसूस करने लग जाते हैं, लेकिन दोस्तो आज हम आपके लिए एक ऐसा नुस्खा लेकर आए हैं,

जिसका सेवन करने से आपकी थकान नियमित रूप से दूर हो जाएगी। अगर आप हमारे बताए अनुसार इस विधि को काम में लेते हैं तो आपको बहुत ज्यादा फायदे मिलेंगे। तो आइए देखते हैं इस नुस्खे के बारे में।

इसके साथ हम आज आपको बताने जा रहे हैं आयुर्वेद के एक ऐसे सदाबहार चूर्ण के बारे में जिसको खा कर आप सदा अपने आप को जवान और तंदुरुस्त महसूस करेंगे। बस इसको अपने दैनिक जीवन में शामिल करे।

आवश्यक सामग्री 

सूखे आंवले का चूर्ण

काले तिल (साफ़ कर के) इसका चूर्ण

भृंगराज (भांगरा) का चूर्ण

गोखरू का चूर्ण

गौ घृत

ऑर्गेनिक शहद

आइये जाने इसको घर पर बनाने की विधि 

पहले ये सब 100 – 100 ग्राम की मात्रा में ले कर मिला लीजिये, फिर इस में 400 ग्राम पीसी हुयी मिश्री मिला लीजिये। तत्पश्चात इसमें 100 ग्राम शुद्ध देशी गौ घृत (पुराना गाय का घी) मिला लीजिये और आखिर में इस में 300 ग्राम शहद मिला लीजिये। (ध्यान रहे घी और शहद समान मात्रा में कभी नही ले)।

अब इस चूर्ण को किसी कांच के बर्तन में या घी के चिकने मिटटी के पात्र या चीनी के बर्तन में सुरक्षित रख ले। इस चूर्ण को एक चम्मच (5 ग्राम) की मात्रा में खाली पेट नित्य सेवन करे और ऊपर से गाय का दूध या गुनगुना पानी पीजिये।

आवश्यक सावधानी 

घी और शहद परस्पर समान मात्रा में धीमे ज़हर का काम करते हैं। इसलिए इनकी समान मात्रा नहीं लेनी।

इसके फायदे 

इस चूर्ण से आपके शरीर का पूरा कायाकल्प हो जायेगा। यदि छोटी आयु में बाल झड़ गए हैं तो पुनः दोबारा उग आएंगे, अगर सफ़ेद हो गए हैं तो काले हो जायेंगे, और वृद्धावस्था तक काले बने रहेंगे।

ढीले दांत भी मज़बूत बन जायेंगे। चेहरे पर कान्ति आ जाएगी। शरीर शक्ति शाली और बाजीकरण युक्त हो जाएगा। और कुछ ही दिनों में दुर्बल व्यक्ति भी अपना वज़न पूरा कर शक्तिशाली बन जाता हैं। आवश्यक परहेज : अंडा, मांस, मछली, नशीले पदार्थो का सेवन वर्जित हैं।